नवीनकरणीय ऊर्जा – क्या है और क्यों ज़रूरी?
आपने अक्सर समाचारों में सोलर पैनल या विंड टर्बाइन देखे होंगे। ये ही हैं नई ऊर्जा के स्रोत, यानी नवीनकरणीय ऊर्जा. यह वो बिजली है जो सूरज, हवा, पानी या बायोमास से आती है और पेट्रोलियम जैसे फॉसिल ईंधन नहीं छोड़ती. भारत में बढ़ते ऊर्जा खपत को देखते हुए इस पर ध्यान देना जरूरी है.
भारत में नवीनकरणीय ऊर्जा की मौजूदा स्थिति
अभी भारत ने 150 GW से अधिक सौर और पवन क्षमता स्थापित कर ली है। सरकार ने 2030 तक कुल इंस्टॉल्ड क्षमता को 450 GW तक बढ़ाने का लक्ष्य रखा है. हाल के महीनों में कई बड़े प्रोजेक्ट्स शुरू हुए – जैसे राजस्थान में विश्व की सबसे बड़ी सोलर फार्म और ओडिशा में ऑफशोर पवन परियोजना. ये कदम न सिर्फ ऊर्जा सुरक्षा बल्कि रोजगार भी पैदा करते हैं.
भविष्य के अवसर और चुनौतियाँ
नवीनकरणीय ऊर्जा का विस्तार करने से कार्बन उत्सर्जन घटेगा, वायु क्वालिटी सुधरेगी और आयातित कोयले पर निर्भरता कम होगी. लेकिन अभी भी कुछ बाधाएँ हैं – जैसे ग्रिड की स्थिरता, भंडारण तकनीक की लागत, और छोटे किसान‑उद्यमियों के लिए फाइनेंसिंग तक पहुँच. इन समस्याओं का समाधान सरकारी सब्सिडी, निजी निवेश और अंतरराष्ट्रीय सहयोग से संभव है.
आपको क्या चाहिए? अगर आप घर में सोलर लगवाना चाहते हैं तो सबसे पहले स्थानीय इंस्टॉलर की रेटिंग देखें, टैक्स लाभ समझें और नेट मीटरिंग के बारे में पूछें. छोटे स्तर पर पवन टर्बाइन भी विकल्प बन रहा है, खासकर ग्रामीण क्षेत्रों में जहाँ जमीन उपलब्ध होती है.
एक बात याद रखें – नवीनकरणीय ऊर्जा सिर्फ पर्यावरण के लिए नहीं, बल्कि आपके बिल को कम करने का आसान तरीका भी है. कई शहरों में सोलर पीवी सिस्टम की कीमत पिछले पाँच साल में 40% तक गिर गई है. इसलिए अभी निवेश करना समझदारी हो सकती है.
देश की बड़ी कंपनियां भी इस दिशा में कदम बढ़ा रही हैं. उदाहरण के तौर पर, एक भारतीय फॉर्च्यून 500 कंपनी ने 2025 में अपनी पूरी फैक्ट्री को सोलर और पवन ऊर्जा से चलाने का वादा किया है. इससे न केवल कार्बन फुटप्रिंट घटेगा बल्कि दीर्घकालिक लागत बचत भी होगी.
अगर आप निवेशक हैं तो ग्रीन बांड या ESG फंड में देख सकते हैं. इन फंड्स ने पिछले साल 20% रिटर्न दिया है, जबकि पारम्परिक म्यूचुअल फंड्स की तुलना में कम जोखिम दिखाया है. इसलिए नवीनकरणीय ऊर्जा सेक्टर को एक आकर्षक विकल्प माना जा रहा है.
अंत में, यदि आप इस क्षेत्र के बारे में और पढ़ना चाहते हैं तो रचनात्मक संगम समाचार पर जुड़ें. यहाँ हर दिन नई अपडेट्स मिलेंगी – चाहे वह सोलर नीति का बदलाव हो या नई पवन परियोजना की शुरुआत। आपका सवाल या राय भी हमसे शेयर करें, हम आपके साथ चर्चा करेंगे.

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Waaree Energies के शेयरों में Q3FY25 के मजबूत नतीजों के कारण 14.38% की वृद्धि देखी गई है। कंपनी ने तीसरी तिमाही में 492.68 करोड़ रुपये का मुनाफा अर्जित किया, जो पिछले साल की इसी अवधि की तुलना में 295.66% अधिक है। संचालन से प्राप्त राजस्व 116.6% बढ़कर 3,457.3 करोड़ रुपये तक पहुंच गया। EBITDा में भी 321.5% की वृद्धि देखी गई, जबकि संचालन लाभ मार्जिन 1,020 बेसिस पॉइंट्स से 20.9% तक बढ़ गया।