राहुल गांधी का लोक सभा भाषण हटाया गया: 'सत्य को हटाया नहीं जा सकता'

राहुल गांधी का लोक सभा भाषण हटाया गया: 'सत्य को हटाया नहीं जा सकता'

राहुल गांधी का तीखा हमला

लोक सभा में मंगलवार को विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार पर तीखा हमला बोलते हुए कहा कि 'मोदीजी की दुनिया में, सत्य को हटाया जा सकता है। लेकिन वास्तविकता में सत्य को हटाया नहीं जा सकता।' यह बयान उनके भाषण के उन हिस्सों को आधिकारिक रिकॉर्ड से हटाए जाने के बाद आया, जिसमें उन्होंने केंद्र सरकार की कड़ी आलोचना की थी।

धार्मिक शिक्षाओं का उल्लेख

अपने उद्घाटन भाषण में, राहुल गांधी ने राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा के दौरान विभिन्न धार्मिक शिक्षाओं का उल्लेख किया। उन्होंने पैगंबर मुहम्मद, भगवान शिव, गुरु नानक और यीशु मसीह के चित्रों का उद्धरण देकर डर के खिलाफ साहस का महत्व बताया। उन्होंने कहा कि प्रमुख धर्म हमेशा साहस की शिक्षा देते हैं और डर का विरोध करते हैं। हालांकि, उनकी भाषण के कुछ हिस्सों को आधिकारिक रिकॉर्ड से हटा दिया गया, जिसमें उन्होंने भारतीय जनता पार्टी की कड़ी आलोचना की थी।

बीजेपी पर आरोप

राहुल गांधी ने अपने भाषण में बीजेपी पर अल्पसंख्यकों के साथ अन्यायपूर्ण व्यवहार करने का आरोप लगाया। उन्होंने उद्योगपतियों अडानी और अंबानी की भी आलोचना की और दावा किया कि एनईईटी परीक्षा सम्पन्न छात्रों को ज्यादा फायदा पहुंचाती है। इसके अलावा, उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि अग्निवीर योजना प्रधानमंत्री कार्यालय से आई थी, न कि भारतीय सेना से।

भाषण के दौरान व्यवधान

राहुल गांधी के इस घंटे और चालीस मिनट के भाषण के दौरान उन्हें कई बार रोका गया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दो बार हस्तक्षेप किया और कम से कम पांच केंद्रीय मंत्रियों ने बीच में अपनी बात रखी। गृह मंत्री अमित शाह ने राहुल गांधी से माफी मांगने की मांग की, जो उस समय की उच्च तनाव की स्थिति को दर्शाता है। हालांकि, राहुल गांधी अपनी बात पर दृढ़ रहे और कहा कि 'यह केवल एक धर्म नहीं है जो साहस की बात करता है। हमारे सभी धर्म साहस की बात करते हैं।' उन्होंने आगे बीजेपी की धार्मिक निष्ठाओं पर सवाल उठाते हुए कहा, 'आप हिन्दू हो ही नहीं।'

प्रधानमंत्री मोदी का हस्तक्षेप

प्रधानमंत्री मोदी का हस्तक्षेप

प्रधानमंत्री मोदी ने भाषण के दौरान हस्तक्षेप करते हुए कहा कि राहुल गांधी के आरोप गंभीर हैं और पूरे हिन्दू समुदाय को हिंसक कहना एक गंभीर मुद्दा है। मोदी ने यह स्पष्ट किया कि यह आरोप केवल एक राजनीतिक बयान नहीं है, बल्कि यह मुद्दा गहरी सोच और मान्यता से जुड़ा हुआ है।

सत्य और साहस का संदेश

राहुल गांधी ने अपने भाषण में धार्मिक शिक्षाओं के हवाले से एक महत्वपूर्ण संदेश दिया कि सत्य और साहस का मार्ग ही सच्चा मार्ग है। उन्होंने कहा कि सत्य को किसी भी कीमत पर दबाया नहीं जा सकता और अंततः सत्य की ही जीत होती है। उनका यह बयान उस समय की स्थिति को दर्शाता है जब देश में विभिन्न मुद्दों पर सरकार की नीतियों की कड़ी आलोचना हो रही है।

17 टिप्पणि

SUNIL PATEL
SUNIL PATEL
जुलाई 2, 2024 AT 23:58

सच को हटाने की कोशिश करना बस डर का नाम है। राहुल गांधी ने जो कहा, वो सच है। अगर तुम्हारा सच डरावना है, तो उसे छिपाने की कोशिश मत करो।

Avdhoot Penkar
Avdhoot Penkar
जुलाई 4, 2024 AT 01:35

LOL ये सब धर्मों का जिक्र करके राजनीति करना बस नाटक है 😂 अगर वो सच बोल रहे हैं तो पहले अपने पार्टी के झूठे वादे ठीक कर लें!

Akshay Patel
Akshay Patel
जुलाई 4, 2024 AT 17:12

राहुल गांधी का ये भाषण बस एक और गलत बयान है। हिंदू समुदाय को हिंसक कहना बर्बरता है। ये लोग देश को बांटने की कोशिश करते हैं।

Raveena Elizabeth Ravindran
Raveena Elizabeth Ravindran
जुलाई 4, 2024 AT 23:29

ye sab kya bhai? kuch samajh nahi aaya... bas itna pata chala ki koi kuch kaha aur kuch hata diya... aur phir kya? 😴

Krishnan Kannan
Krishnan Kannan
जुलाई 5, 2024 AT 17:33

मुझे लगता है ये सवाल असल में ये है कि हम अपने इतिहास और धर्म को कैसे पढ़ते हैं। क्या हम उसे अलग-अलग धर्मों के लिए बांट देते हैं या एक साझा मानवता के रूप में देखते हैं? राहुल ने बस एक साझा संदेश दिया।

Dev Toll
Dev Toll
जुलाई 7, 2024 AT 00:47

भाषण को हटाना बस एक शो का हिस्सा है। जिस दिन वो सच बोलेंगे और उसे छिपाया नहीं जाएगा, तब तक ये नाटक चलता रहेगा।

utkarsh shukla
utkarsh shukla
जुलाई 8, 2024 AT 03:28

ये बातें सुनकर दिल भर आया! सच की आवाज़ दबाई नहीं जा सकती! राहुल गांधी ने जो कहा, वो दिल से निकला! इसे दुनिया भर में सुनाओ! 🙌🔥

Amit Kashyap
Amit Kashyap
जुलाई 9, 2024 AT 23:59

sach ko hatane ki koshish karte ho toh apni aukaat dekho... hindu samajh ko hinsak bolna kya hai? yeh toh desh ke khilaf khatarnaak galti hai

mala Syari
mala Syari
जुलाई 11, 2024 AT 10:32

मुझे नहीं पता कि ये लोग क्या बोल रहे हैं... लेकिन इतना तो पता है कि ये सब बस एक राजनीतिक नाटक है। और ये धर्मों का उल्लेख बस एक ट्रिक है। 🙄

Kishore Pandey
Kishore Pandey
जुलाई 13, 2024 AT 08:56

राहुल गांधी के भाषण के उन भागों को हटाना लोकतंत्र के खिलाफ एक अनुचित कदम है। सत्य को छिपाने की कोशिश नहीं, बल्कि इसे सुनने की जरूरत है।

Kamal Gulati
Kamal Gulati
जुलाई 14, 2024 AT 08:30

क्या हम सच के लिए लड़ रहे हैं या अपने अहंकार के लिए? राहुल गांधी ने जो कहा, वो सच है... लेकिन क्या वो सच बोलने के लिए तैयार हैं? या बस अपनी बात बनाने के लिए?

Atanu Pan
Atanu Pan
जुलाई 14, 2024 AT 17:55

मैं तो बस यही कहूंगा कि जब तक लोग एक-दूसरे के धर्म को समझेंगे, तब तक ये झगड़े रुकेंगे। राहुल ने बस एक बात कही - साहस चाहिए, न कि डर।

Pankaj Sarin
Pankaj Sarin
जुलाई 14, 2024 AT 20:52

sach ko hatana mazak hai ya galti? koi fark nahi padta... abhi tak koi nahi bola ki kyun hata diya? phir bhi sab bol rahe hai

Mahesh Chavda
Mahesh Chavda
जुलाई 15, 2024 AT 10:32

यह भाषण एक ऐसा नाटक है जिसे राजनीतिक शक्ति के लिए लिखा गया है। धर्म का उपयोग राजनीति के लिए किया जा रहा है। और ये सब बस एक अपराध है।

Sakshi Mishra
Sakshi Mishra
जुलाई 16, 2024 AT 02:22

सत्य को हटाने की कोशिश... क्या यह एक अलग तरह का अपराध नहीं है? जब हम इतिहास को छिपाते हैं, तो हम भविष्य को बर्बाद कर रहे होते हैं। राहुल गांधी ने एक बहुत ही गहरा संदेश दिया है।

Radhakrishna Buddha
Radhakrishna Buddha
जुलाई 16, 2024 AT 17:40

अरे भाई, ये सब तो बस बहस है! अगर तुम्हारा सच डरावना है, तो उसे छिपाने की जगह उसे सुनो! राहुल ने जो कहा, वो बिल्कुल सही है - साहस बनाम डर!

Govind Ghilothia
Govind Ghilothia
जुलाई 17, 2024 AT 03:58

भारतीय संस्कृति का मूल आधार एकता में विविधता है। राहुल गांधी ने एक ऐसा संदेश दिया जो इस संस्कृति के सार को छूता है - साहस, सत्य और सार्वभौमिक मानवता। इसे हटाने की कोशिश भारत के आत्मविश्वास के खिलाफ है।

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